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Daily-mcqs 03 Sep 2025
Q1:
1. इसे विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) द्वारा विकसित किया गया है। 2. AQLI मानव जीवन प्रत्याशा पर PM2.5 प्रदूषण के प्रभाव को मापता है। 3. AQLI का 2025 संस्करण वर्ष 2023 के वैश्विक आंकड़ों पर आधारित है। उपरोक्त में से कौन सा/से कथन सही है/हैं?Air Quality Life Index (AQLI) से संबंधित निम्नलिखित कथनों पर विचार करें:
A: केवल 1 और 2
B: केवल 2 और 3
C: केवल 1 और 3
D: 1, 2 और 3
उत्तर: B
स्पष्टीकरण:
· कथन 1 गलत है:
Air Quality Life Index (AQLI) को विश्व स्वास्थ्य संगठन द्वारा नहीं बल्कि शिकागो विश्वविद्यालय के एनर्जी पॉलिसी इंस्टीट्यूट (EPIC) द्वारा विकसित किया गया है।
· कथन 2 सही है:
AQLI जीवन प्रत्याशा पर PM2.5 वायु प्रदूषण के प्रभाव को मापता है, यह दर्शाता है कि यदि वायु गुणवत्ता WHO मानकों के अनुरूप हो जाए तो लोग कितने वर्ष अधिक जीवित रह सकते हैं।
· कथन 3 सही है:
AQLI का 2025 संस्करण वर्ष 2023 के आंकड़ों पर आधारित है, जो वैश्विक रिपोर्टों में सामान्यतः प्रयुक्त दो-वर्षीय डेटा अंतराल को दर्शाता है।
Q2:
1. भारत में वायु प्रदूषण को सबसे गंभीर स्वास्थ्य खतरे के रूप में पहचाना गया है, जो औसत जीवन प्रत्याशा को 5 वर्षों से अधिक कम करता है। 2. रिपोर्ट के अनुसार, भारत की पूरी जनसंख्या WHO के PM2.5 दिशानिर्देश से अधिक प्रदूषण वाले क्षेत्रों में रहती है। 3. दिल्ली-एनसीआर में वायु प्रदूषण के कारण जीवन प्रत्याशा की सबसे अधिक संभावित हानि दिखाई गई है। 4. PM2.5 प्रदूषण अब धूम्रपान के बाद वैश्विक जीवन प्रत्याशा के लिए दूसरा सबसे बड़ा बाहरी जोखिम है। उपरोक्त में से कौन से कथन सही हैं?Air Quality Life Index (AQLI) 2025 के संदर्भ में निम्नलिखित कथनों पर विचार करें:
A: केवल 1 और 3
B: केवल 2 और 4
C: केवल 2 और 3
D: 1, 2 और 3
उत्तर: C
स्पष्टीकरण:
· कथन 1: गलत
रिपोर्ट के अनुसार, भारत में वायु प्रदूषण औसत जीवन प्रत्याशा को 3.5 वर्ष कम करता है, 5 वर्ष से अधिक नहीं।
· कथन 2: सही
भारत की 100% जनसंख्या ऐसे क्षेत्रों में रहती है जहाँ PM2.5 स्तर WHO के 5 µg/m³ मानक से अधिक है।
· कथन 3: सही
दिल्ली-एनसीआर सूची में सबसे ऊपर है, जहाँ निवासी 8.2 वर्ष तक जीवन प्रत्याशा खो सकते हैं।
· कथन 4: गलत
AQLI 2025 के अनुसार, PM2.5 प्रदूषण अब मानव जीवन प्रत्याशा के लिए सबसे बड़ा बाहरी जोखिम बन चुका है, जो धूम्रपान, कुपोषण और संक्रामक बीमारियों से भी आगे है।
Q3:
1. यह ट्रॉमैटिक ब्रेन इंजरी (TBI) का पता लगाने के लिए एक इनवेसिव डायग्नोस्टिक उपकरण है। 2. यह उपकरण नजदीकी अवरक्त स्पेक्ट्रोस्कोपी और मशीन लर्निंग का उपयोग करके मस्तिष्क में रक्तस्राव और सेरेब्रल एडिमा का पता लगाता है। 3. इसके संचालन के लिए उन्नत रेडियोलॉजिकल इन्फ्रास्ट्रक्चर और प्रशिक्षित रेडियोलॉजिस्ट की आवश्यकता नहीं होती। 4. इसे ग्रामीण और आपातकालीन परिस्थितियों में उपयोग के लिए डिजाइन किया गया है। उपरोक्त में से कौन से कथन सही हैं?CEREBO के संदर्भ में, जो हाल ही में भारत में लॉन्च किया गया है, निम्नलिखित कथनों पर विचार करें:
A: केवल 1 और 2
B: केवल 2 और 4
C: केवल 1,3 और 4
D: केवल 2, 3 और 4
उत्तर: D
स्पष्टीकरण:
· कथन 1: गलत
CEREBO एक गैर-आक्रामक (non-invasive) डायग्नोस्टिक डिवाइस है। यह शरीर में कोई चीर-फाड़ नहीं करता।
· कथन 2: सही
यह उपकरण near-infrared spectroscopy और machine learning का उपयोग करता है जिससे मस्तिष्क में रक्तस्राव और सूजन (edema) का पता एक मिनट से भी कम समय में लगाया जा सकता है।
· कथन 3: सही
यह उपकरण बिना किसी उन्नत इंफ्रास्ट्रक्चर या विशेषज्ञों के काम करता है; 30 मिनट के प्रशिक्षण के बाद इसे अप्रशिक्षित व्यक्ति भी चला सकते हैं।
· कथन 4: सही
इस डिवाइस को खासतौर पर ग्रामीण, आपातकालीन, एम्बुलेंस और आपदा क्षेत्र में उपयोग के लिए डिज़ाइन किया गया है।
Q4:
1. Vikram 3201 भारत का पहला पूर्ण रूप से स्वदेशी 32-बिट स्पेस-ग्रेड माइक्रोप्रोसेसर है। 2. इसे मुख्यतः स्मार्टफोन और लैपटॉप जैसे वाणिज्यिक अनुप्रयोगों के लिए डिज़ाइन किया गया है। 3. यह प्रोसेसर ISRO और सेमीकंडक्टर लैबोरेटरी (SCL), चंडीगढ़ द्वारा संयुक्त रूप से विकसित किया गया है। उपरोक्त में से कौन से कथन सही हैं?Vikram 3201 के संदर्भ में निम्नलिखित कथनों पर विचार करें:
A: केवल 1 और 3
B: 1, 2 और 3
C: केवल 3
D: केवल 2
उत्तर: A
स्पष्टीकरण:
· कथन 1: सही
Vikram 3201 भारत का पहला पूर्ण रूप से स्वदेशी 32-बिट स्पेस-ग्रेड प्रोसेसर है।
· कथन 2: गलत
यह प्रोसेसर स्मार्टफोन या लैपटॉप जैसे वाणिज्यिक उद्देश्यों के लिए नहीं बल्कि लॉन्च व्हीकल और अंतरिक्ष यान प्रणाली के लिए बनाया गया है।
· कथन 3: सही
इसे ISRO और सेमीकंडक्टर लैबोरेटरी (SCL), चंडीगढ़ द्वारा संयुक्त रूप से विकसित किया गया है।
Q5:
सेमीकंडक्टर्स और इंडिया सेमीकंडक्टर मिशन (ISM) के संदर्भ में निम्नलिखित कथनों पर विचार करें: 1. सेमीकंडक्टर्स ऐसे पदार्थ होते हैं जो चालक और कुचालक दोनों की तरह व्यवहार कर सकते हैं। 2. इंडिया सेमीकंडक्टर मिशन (ISM) की शुरुआत 2021 में भारत में एक आत्मनिर्भर सेमीकंडक्टर और डिस्प्ले निर्माण पारिस्थितिकी तंत्र स्थापित करने के उद्देश्य से की गई थी। 3. ISM के तहत डिज़ाइन-लिंक्ड इंसेंटिव (DLI) योजना का उद्देश्य भारत में बड़े पैमाने पर चिप निर्माण इकाइयों को बढ़ावा देना है। 4. सेमीकंडक्टर्स केवल उपभोक्ता इलेक्ट्रॉनिक्स के लिए ही नहीं, बल्कि रक्षा, अंतरिक्ष और स्वास्थ्य देखभाल जैसे क्षेत्रों के लिए भी अत्यंत महत्वपूर्ण हैं। उपरोक्त में से कौन-से कथन सही हैं?
A: केवल 1, 2 और 4
B: केवल 1, 3 और 4
C: केवल 2, 3 और 4
D: 1, 2, 3 और 4 सभी
उत्तर: A
स्पष्टीकरण:
कथन 1: सही
सेमीकंडक्टर्स की विशेषता यह है कि ये चालक (conductors) और कुचालक (insulators) दोनों की तरह व्यवहार कर सकते हैं, जिससे विद्युत संकेतों का सटीक नियंत्रण संभव होता है। इसी कारण ये इलेक्ट्रॉनिक सर्किट के लिए आवश्यक हैं।
कथन 2: सही
इंडिया सेमीकंडक्टर मिशन (ISM) की शुरुआत दिसंबर 2021 में ₹76,000 करोड़ के बजट के साथ हुई थी ताकि भारत में आत्मनिर्भर सेमीकंडक्टर और डिस्प्ले पारिस्थितिकी तंत्र का विकास हो सके।
कथन 3: गलत
DLI योजना का उद्देश्य सीधे बड़े पैमाने पर उत्पादन को बढ़ावा देना नहीं है, बल्कि यह भारत में चिप डिज़ाइन को प्रोत्साहित करने पर केंद्रित है, विशेषकर स्टार्टअप्स और घरेलू कंपनियों के माध्यम से।
कथन 4: सही
सेमीकंडक्टर्स न केवल स्मार्टफोन और कंप्यूटर जैसे उपकरणों में, बल्कि रक्षा प्रणाली, अंतरिक्ष तकनीक, चिकित्सा उपकरण आदि में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।